Balochistan Rocked by Over 70 Coordinated Attacks Under BLF’s ‘Operation Bam’

क्वेटा [पाकिस्तान]: बलूच अलगाववादी संगठन बलूचिस्तान लिबरेशन फ्रंट (बीएलएफ) ने पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में अब तक का सबसे बड़ा और समन्वित हमला अभियान 'ऑपरेशन बाम' चलाया है, जिसने पूरे क्षेत्र में पाकिस्तान की सुरक्षा और प्रशासन को झकझोर कर रख दिया है।

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इस अभियान के तहत 70 से अधिक समन्वित हमले किए गए हैं, जिनमें सैन्य चौकियों, पुलिस पोस्ट, सरकारी भवनों और संचार माध्यमों को निशाना बनाया गया। इसके साथ ही, चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे (सीपीईसी) की प्रमुख सड़कों और मार्गों को अवरुद्ध कर चीन की बेल्ट एंड रोड पहल को भी झटका दिया गया है।

बीएलएफ के प्रवक्ता मेजर ग्वाराम बलूच ने एक प्रेस बयान में कहा कि, "ऑपरेशन बाम के 80% उद्देश्य सफलतापूर्वक पूरे कर लिए गए हैं, और यह पाकिस्तान की राज्य व्यवस्था के साथ-साथ आर्थिक हितों पर भी सीधा प्रहार है।"

नेटवर्क काटा, सड़कों और रेलवे को रोका

डेली संगर और अन्य बलूच समाचार आउटलेट्स की रिपोर्ट के अनुसार, ऑपरेशन बाम के दौरान इंटरनेट सेवाओं को बाधित किया गया, यूफोन जैसे मोबाइल टावरों को नष्ट किया गया, रेलवे सेवाओं को रोक दिया गया और मुख्य राजमार्गों जैसे क्वेटा-सिबी रोड, कलात-मंगूचर मार्ग और सीपीईसी लिंक रोड को अवरुद्ध कर यातायात को पूरी तरह ठप कर दिया गया।

सीधे हमले और रणनीतिक बदलाव

बीएलएफ ने इस बार पारंपरिक हिट-एंड-रन हमलों की बजाय सीधे सैन्य चौकियों और पुलिस चौकियों पर हमले कर रणनीति में बदलाव दिखाया है। क्वेटा, केच, खुजदार, कलात, सिबी और खरान में भारी गोलीबारी और विस्फोटक हमलों की खबरें आई हैं।

बलूच अलगाववादी लड़ाकों ने दश्त और ग्वारकोप में पाकिस्तानी सैन्य ड्रोन मार गिराए और सैन्य शिविरों पर मोर्टार दागे। वहीं, ग्वादर में तटरक्षक चौकी और मूंदी क्रॉस में एफसी चौकी पर हमला कर तटीय इलाकों में पाकिस्तानी सुरक्षा व्यवस्थाओं की कमजोरियों को उजागर किया गया।

बैंक और खनिज ट्रकों को भी बनाया निशाना

बलिदा में निकासी के बाद एक यूबीएल बैंक में आग लगा दी गई, जबकि मुसाखेल में खनिज से लदे ट्रकों और बसों को रोककर संदिग्ध आईएसआई और मिलिट्री इंटेलिजेंस (एमआई) एजेंट्स को निशाना बनाया गया, जहां 9 लोगों के मारे जाने की सूचना है।

बीएलएफ, जो पहले सिर्फ मकुरान, अवारन और खुजदार तक सीमित था, उसने अब सोहबतपुर, नसीराबाद और कर्मो वाध जैसे इलाकों में भी अपना प्रभाव बढ़ाया है। इससे संगठन की व्यापक पहुंच और बलूच मुक्ति आंदोलन की बढ़ती संगठित ताकत का संकेत मिलता है।

बलूच विशेषज्ञों का मानना है कि यह हमला पाकिस्तान में मीडिया ब्लैकआउट और बलूच मुद्दे पर वैश्विक उपेक्षा के बाद एक शक्ति प्रदर्शन है, जो पाकिस्तान सरकार और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को यह संदेश देता है कि बलूच मुक्ति आंदोलन अभी भी संगठित और सक्रिय है।

पाकिस्तानी सरकार की चुप्पी और अलर्ट

पाकिस्तान सरकार ने इस पर अब तक कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया जारी नहीं की है, लेकिन सीपीईसी से लगे इलाकों में सुरक्षा अलर्ट जारी कर दिया गया है। कई जिलों में अतिरिक्त सुरक्षाबलों की तैनाती की जा रही है और आपूर्ति मार्गों की सुरक्षा बढ़ाई जा रही है।

ऑपरेशन बाम ने पाकिस्तान के लिए एक नई सुरक्षा चुनौती पेश की है। सीपीईसी के लिए यह हमले गंभीर खतरा हैं, वहीं बलूच अलगाववादी आंदोलन के लिए यह एक नई ऊर्जा और वैश्विक ध्यान आकर्षित करने का प्रयास भी है। आने वाले दिनों में इस अभियान का बलूचिस्तान और पाकिस्तान पर प्रभाव देखने योग्य होगा।

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